Tuesday, April 17, 2012

रहबय कोहबर कत्तेक दिन

रहबय कोहबर कत्तेक दिन
बनिकय अजगर कत्तेक दिन

शादी तऽ एक संस्कार छी
जीबय असगर कत्तेक दिन

बिना काज के मान घटत नित
फूसिये दीदगर कत्तेक दिन

बैसल देहक काज कोन छै
एहने मोटगर कत्तेक दिन

आबहुँ जागू सुमन आलसी
खेबय नोनगर कत्तेक दिन

1 comment:

  1. सासुर में सचार ओ ओझा
    लागत जावत ततेक दिन.

    नीक ग़ज़ल ......धन्यवाद !!

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